देश में कंप्यूटर क्रांति लाने वाले, राजीव गांधी जी के पायलट से प्रधानमंत्री बनने का सफर
आज मोबाइल से लेकर लैपटॉप और न जाने क्या क्या… हमारी पहचान बन गया है लेकिन एक समय वो भी थे जब शायद ही किसी ने सोचा था कि ये समय भी आएगा, और इस सोच न सिर्फ जन्म दिया बल्कि गे लेकर गे हमारे देश के पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी… वो राजीव गांधी जी ही तो थे जिन्होनें 21वीं सदी की नई नींव रखी, देश को आईटी से परिचित कराया और एक आधुनिक सोच की तरफ कदम बढ़ाया…
पायलट से प्रधानमंत्री बनने का सफर
देश आजाद होने के साथ ही देश में कांग्रेस की सरकार बनी और प. जवाहर लाल नेहरू जी हमारे देश के प्रथम प्रधानमंत्री बने उनके बाद इस विरासत को उनकी बेटी ने संभाला और सिर्फ संभाला ही बखूबी निभाया और इंदिरा गांधी जी देश की पहली महिला प्रधानमंत्री बन गई.. लेकिन 31 अक्टूबर को दिल्ली में इंदिरा गांधी की हत्या कर दी गई. इसके बाद से यही सवाल उठा कि अब अगला प्रधानमंत्री कौन होगा? राजीव गांधी जब एम्स पहुंचे तब सोनिया गांधी ने उन्हें रोकर आग्रह किया कि वो प्रधानमंत्री ना बनें… वैसे तो राजनीति से दूर राजीव गांधी पायलट की नौकरी करते थे, लेकिन भाई संजय गांधी की मौत के बाद हालात ऐसे बन गए कि उन्हें राजनीति में कदम रखना पड़ा.
नए भारत की रखी नींव
अपने 5 साल के कार्यकाल के दौरान राजीव गांधी ने कई ऐसे कार्य किए, जिनके लिए उन्हें आज भी याद किया जाता है. इसी में से एक था कंप्यूटर क्रांति लाना, उन्होंने सैम पित्रोदा के साथ मिलकर देश में कंप्यूटर क्रांति लाने की दिशा में काम किया. और देश को एक नया आयाम दिया…लेकिन देश को बढ़ाता देखने का सपना उनका पूरा न हो सका और 21 मई 1991 को राजीव गांधी की हत्या तमिलनाडु के श्रीपेराम्बदूर में एक आत्मघाती विस्फोट हमले में कर दी गई थी